जिला उपायुक्त श्री रामनिवास यादव ने आज उत्क्रमित मध्य विद्यालय, पिपराडीह (पीरटाड़) से बच्चों को पल्स पोलियो की खुराक पिलाकर राष्ट्रीय पल्स पोलियो अभियान की शुरुआत की।
इस अवसर पर उपायुक्त ने कहा कि भारत पोलियो मुक्त देशों में शामिल है, परंतु पोलियो मुक्त स्थिति बनाए रखने के लिए हर बच्चे को “दो बूंद जिंदगी की” देना आवश्यक है।
उन्होंने बताया कि अभियान के सफल संचालन के लिए सभी संबंधित अधिकारियों और कर्मियों को उनके दायित्वों से अवगत करा दिया गया है तथा आवश्यक दिशा-निर्देश भी जारी किए गए हैं। उपायुक्त ने कहा कि 0 से 5 वर्ष तक के कुल 4,91,635 बच्चों को पोलियो की खुराक देने का लक्ष्य रखा गया है।
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पहले दिन 2325 बूथों पर दवा पिलाई जाएगी, जबकि 13 और 14 अक्टूबर को स्वास्थ्यकर्मी घर-घर जाकर बच्चों को खुराक देंगे। अभियान में लगभग 4650 स्वास्थ्यकर्मियों की नियुक्ति की गई है।
उन्होंने कहा कि पोलियो एक लाइलाज बीमारी है जो बच्चों में दिव्यांगता का प्रमुख कारण बनती है। इसलिए हर बार बच्चों को पोलियो की दो बूंदें अवश्य पिलाएं ताकि कोई भी बच्चा न छूटे।
इसी क्रम में उप विकास आयुक्त श्रीमती स्मृता कुमारी, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी श्रीमती अनीता कुजूर, जिला जनसंपर्क पदाधिकारी श्रीमती अंजना भारती, तथा जिला यक्ष्मा पदाधिकारी समेत अन्य अधिकारियों ने मातृत्व शिशु अस्पताल, चैताडीह में बच्चों को पल्स पोलियो की दवा पिलाकर अभियान का शुभारंभ किया।
उप विकास आयुक्त ने कहा कि यह अभियान 12 से 14 अक्टूबर तक चलाया जाएगा। पहले दिन बूथों पर बच्चों को दवा दी जाएगी और अगले दो दिनों तक स्वास्थ्य कर्मी घर-घर जाकर बच्चों को पोलियो की खुराक देंगे।
उन्होंने बताया कि जिले में अभियान के लिए लगभग 2400 बूथ स्थापित किए गए हैं।
उन्होंने सभी जिलेवासियों से अपील की कि वे अपने बच्चों को बूथ पर अवश्य लेकर आएं और दो बूंद जिंदगी की खुराक दिलाएं ताकि भविष्य में कोई भी बच्चा पोलियो से ग्रसित न हो।
मैं अभिमन्यु कुमार पिछले चार वर्षों से गिरिडीह व्यूज में बतौर “चीफ एडिटर” के रूप में कार्यरत हुं,आप मुझे नीचे दिए गए सोशल मीडिया के द्वारा संपर्क कर सकते हैं।