पचम्बा गौशाला मेला की तैयारियों को लेकर प्रशासनिक हलचल तेज — एसडीएम श्रीकांत यशवंत बिस्पुते ने समिति संग की उच्चस्तरीय बैठक…

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गिरिडीह जिले का ऐतिहासिक पचम्बा गौशाला मेला (128वां) अब कुछ ही दिनों दूर है, और इसी के मद्देनज़र आज जिला प्रशासन ने गौशाला समिति के साथ एक उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक आयोजित की। सदर अनुमंडल पदाधिकारी (एसडीएम) श्रीकांत यशवंत बिस्पुते की अध्यक्षता में हुई इस महत्वपूर्ण बैठक में मेला की तैयारियों को अंतिम रूप देने और चुनौतियों पर विस्तार से चर्चा हुई।

एसडीएम का सख्त निर्देश: सुरक्षा सर्वोपरि

बैठक के दौरान, एसडीएम बिस्पुते ने स्पष्ट कर दिया कि इस वर्ष श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा प्रशासन की सर्वोच्च प्राथमिकता रहेगी। उन्होंने न केवल बैठक में निर्देश दिए, बल्कि स्वयं मेला परिसर का निरीक्षण भी किया।

निरीक्षण के बाद, उन्होंने संबंधित विभागों को कई महत्वपूर्ण दिशा-निर्देश दिए। सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने के लिए अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती, भीड़ नियंत्रण और संदिग्ध गतिविधियों पर पैनी नजर रखने पर जोर दिया गया है। इसके अलावा, स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने को कहा गया है, ताकि श्रद्धालुओं को किसी तरह की असुविधा न हो।

यातायात नियंत्रण और मूलभूत सुविधाएं पर फोकस

मेला के दौरान यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाए रखना एक बड़ी चुनौती होती है। इसे देखते हुए, एसडीएम ने यातायात नियंत्रण के लिए विशिष्ट योजना बनाने के निर्देश दिए।

बिजली आपूर्ति और पानी की उपलब्धता जैसे मूलभूत पहलुओं पर भी प्रशासन ने गंभीरता दिखाई है। बिजली विभाग को निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करने को कहा गया है, जबकि पेयजल के लिए पर्याप्त व्यवस्था करने के निर्देश दिए गए। अग्निशमन विभाग को किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए तैयार रहने को कहा गया है।

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बैठक में नगर निगम, अग्निशमन विभाग, बिजली विभाग, नगर थाना, मुफस्सिल थाना और पचम्बा थाना के प्रभारी अधिकारी उपस्थित रहे। एसडीएम बिस्पुते ने सभी विभागों को आपसी समन्वय (तालमेल) बनाकर काम करने का सख्त निर्देश दिया, ताकि मेला शांतिपूर्ण, सफल और सुरक्षित ढंग से संपन्न हो सके।

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कुल मिलाकर, इस बैठक से यह साफ हो गया है कि जिला प्रशासन इस ऐतिहासिक मेले की गरिमा और जन-आस्था को ध्यान में रखते हुए कोई कसर नहीं छोड़ना चाहता है। अब देखना यह है कि जमीनी स्तर पर इन निर्देशों का कितना पालन होता हैं।

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