गिरिडीह से अभिषेक कुमार के साथ चुलबुल पांडेय की रिपोर्ट
●उपायुक्त की अध्यक्षता में माननीय NGT, नई दिल्ली में दायर वाद (O.A. No.726/2018) से संबंधित बैठक संपन्न …
●जिले में अवैध बालू के खनन, उत्खनन एवं परिचालन पर रोक लगाने के उद्देश्य से संबंधित अधिकारियों को दिया गया आवश्यक दिशा निर्देश :- उपायुक्त…
गिरिडीह, 15 जनवरी 2021:- उपायुक्त सह जिला दंडाधिकारी, गिरिडीह की अध्यक्षता में माननीय NGT, नई दिल्ली में दायर वाद (O.A. No.726/2018) में पारित आदेश दिनांक 04.11.2020 के तहत अवैध बालू उत्खनन से संबंधित उपायुक्त कार्यालय प्रकोष्ठ में आज बैठक आयोजित की गई। इस दौरान अवैध बालू खनन, उत्खनन एवं परिचालन पर रोक लगाने हेतु उपायुक्त द्वारा संबंधित अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिया गया।
बैठक में उपायुक्त द्वारा गिरिडीह जिलान्तर्गत संचालित सभी अवैध बालू घाटों से बालू खनन की समीक्षा की गयी तथा जिले में होने वाले अवैध बालू खनन उत्खनन एवं परिचालन इत्यादि पर रोक लगाने हेतु खनन एवं संबंधित पदाधिकारी को उपायुक्त द्वारा आवश्यक दिशा निर्देश दिया गया। उन्होंने टीम का गठन कर जिले में अवैध बालू खनन, उत्खनन एवं परिचालन के विरूद्ध आवश्यक कार्रवाई करने का निदेश दिया एवं साथ ही DSR (डिस्ट्रिक्ट सर्वे रिपोर्ट) को पब्लिक डोमेन के लिए गिरिडीह जिला के वेबसाईट में अपलोड करने हेतु आवश्यक निदेश दिया गया।
इसके अतिरिक्त उपायुक्त ने कहा कि वर्तमान में बालू घाटों का संचालन झारखंड स्टेट सैंड माइनिंग पॉलिसी 2017 के द्वारा किया जाता आ रहा है। JSSMP-2017 के प्रावधान के अनुसार कैटेगरी 2 के बालू घाटों का संचालन झारखंड राज्य खनिज विकास निगम लिमिटेड के द्वारा तथा कैटेगरी-1 के बालू घाटों का संचालन ग्राम पंचायत के माध्यम से किया जाता है। वर्तमान में DSR के अनुसार कैटेगरी-1 के 07 बालू घाटों एवं कैटेगरी-2 के 27 बालू घाटों को चिन्हित किया गया है। गिरिडीह जिले में बालू की सुगम उपलब्धता सुनिश्चित कराने हेतु एवं पंचायत स्तर पर संचालित सरकारी स्पॉन्सर योजनाओं एवं अन्य गैर व्यवसायिक कार्यो हेतु कैटेगरी-1 के 07 बालू घाटों को चिन्हित करना आवश्यक है। इसे लेकर सभी संबंधित अधिकारियों एवं अंचलाधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिया गया है। साथ ही सभी अंचलाधिकारी को अपने अपने क्षेत्र अंतर्गत से चिन्हित बालू घाटों के अतिरिक्त (02 बालू घाटों जिनका क्षेत्रफल 03 एकड़ से ज्यादा न हो) को चिन्हित कर ग्रामीण नक्शा से डीमार्केट करके 05 दिनों के अंदर उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया ताकि इन बालू घाटों को कैटेगरी-1 में शामिल करने हेतु सरकार को शीघ्र उपलब्ध कराया जा सकें।
बैठक में मुख्य रूप से अपर समाहर्ता गिरिडीह, जिला खनन पदाधिकारी, विज्ञ सरकारी अधिवक्ता, जियोलॉजिस्ट एवं अन्य संबंधित अधिकारीगण उपस्थित थे।