क्या  है ‘पीएम श्री’ ? जिसके तहत राज्य के 325 स्कूल चयनित, इन स्कूलों  के नाम हैं शामिल ,जानें सब कुछ इस ख़बर में….


Picsart_24-03-22_12-10-21-076
Picsart_24-03-22_12-11-20-925
Picsart_24-03-22_12-08-24-108
Picsart_24-03-22_12-13-02-284

किसी भी देश की उन्नति तथा शिक्षा व्यवस्था का आधार उस देश के स्कूल होते हैं,बेहतर स्कूल की बुनियादी से ही योग्य और विशिष्ट स्वाभाविक योग्यता युवक तैयार होते हैं जो आगे चलकर देश की बेहतर नागरिक बन कर देश का सेवा करता हैं,लेकिन भारत में स्कूली सरकारी स्कूली शिक्षा हमेशा से ही सवालों के घिरे में रहा हैं देश के अधिकांश सरकारी स्कूल किसी न किसी प्रकार बदहाली का शिकार हो रहे हैं, जिसके परिणामस्वरूप संपन्न लोग तो अपने बच्चों को महँगी फीस देकर निजी स्कूलों में भेज देते हैं, लेकिन आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों के बच्चे कहीं न कहीं अपने शिक्षा के अधिकार से वंचित रह जाते हैं। अगर सरकारी शिक्षण संस्थानों की बुनियादी सुविधाओं व शैक्षिक गुणवत्ता में सुधार आए तो संदेह नहीं कि अभिभावकों की पहली पसंद अब भी वही होंगे। इस स्थिति के मद्देनजर ही नई शिक्षा नीति में स्कूली शिक्षा में सुधार पर जोर या है और अब इस दिशा में प्रयास भी शुरू हैं। पीएम-श्री योजना इसी की एक कड़ी है।

पीएम श्री’ योजना के तहत झारखंड के 325 सरकारी स्कूलों का चयन

ऊपर के लाइन में अपने पढ़ा की स्कूल ऑफ एक्सीलेंस राज्य सरकार की  योजना थी और जिसका उद्देश्य सरकारी स्कूलों को निजी सीबीएसई स्कूलों से टक्कर देना था।  केंद्र सरकार ने ‘पीएम श्री’ योजना के तहत झारखंड के 325 सरकारी स्कूलों का चयन किया है. इनमें सबसे अधिक 26 स्कूल पलामू जिले के हैं. वहीं, गढ़वा से 25, जबकि रांची से 20 स्कूलों चयन हुआ है. सबसे कम सात स्कूल खूंटी जिले से चुने गये हैं. राज्य सरकार ने संबंधित जिलों को चयनित स्कूलों की जानकारी दे दी है. योजना के तहत चयनित स्कूलों को राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के तहत मॉडल स्कूल के रूप में विकसित किया जायेगा. आधारभूत संरचनाओं के विकास के लिए इन स्कूलों को अगले पांच वर्ष में दो करोड़ रुपये दिये जायेंगे. योजना की 60 फीसदी राशि केंद्र सरकार, जबकि 40 फीसदी राज्य सरकार देगी.

अन्य स्कूलों को भी इन्हीं स्कूलों के आधार पर तैयार किया जायेगा. इस संबंध में झारखंड शिक्षा परियोजना की ओर से जिलों को भेजे गये पत्र में कहा गया है कि शिक्षा मंत्रालय भारत सरकार द्वारा पीएम श्री योजना के क्रियान्वयन के लिए वार्षिक कार्य योजना के बजट की मांग की जायेगी. जिलों को विद्यालयों में आधारभूत संरचना के विकास की जानकारी भी दे दी गयी है. साथ ही दिये गये निर्देश व मापदंड के अनुरूप वार्षिक कार्य योजना तैयार करने को कहा गया है. चयनित स्कूलों में बच्चों को पढ़ाने के लिए अत्याधुनिक तकनीकों का इस्तेमाल किया जायेगा. साथ ही स्मार्ट क्लास, प्रयोगशाला और खेल की सुविधाओं पर विशेष ध्यान दिया जायेगा.

देश भर से 14500 स्कूलों का चयन

अपको बता दे की सरकार के इस योजना के तहत देश की कुल 14500 स्कूलों का चयन किया जाना हैं ,इसके लिए पहले राज्य स्तर से स्कूलों का चयन कर केंद्र को भेजा जाता है. मानकों पर खरा उतरनेवाले स्कूलों का ही चयन इस योजना के लिए किया जाता है. झारखंड से भी पिछले वर्ष 509 स्कूलों के नाम केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय को भेजे गये थे, जिनमें से 325 का चयन किया गया है.जिसका विकास हेतु अगले पांच सालों तक 2 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे  

वर्ष 2022 से 2027 तक 27360 करोड़ रूपये खर्च होने का अनुमान

वर्ष 2022 से 2027 तक पांच वर्षों के लिए पीएम-श्री योजना के तहत 27360 करोड़ रूपये खर्च होने का अनुमान है, जिसमें से 18,128 करोड़ रुपये केंद्र सरकार द्वारा तथा शेष राशि राज्यों द्वारा वहन की जाएगी। पीएम-श्री स्कूलों को पर्यावरण अनुकूल रूप देते हुए हरित स्कूल के रूप में विकसित किया जाएगा, जिसमें सोलर पैनल, एलईडी लाइट, प्राकृतिक खेती, कचरा प्रबंधन, जल संरक्षण और संचयन, पर्यावरण की सुरक्षा से संबंधित परंपराओं या प्रथाओं का अध्ययन, जलवायु परिवर्तन से संबंधित हैकाथॉन आदि के साथ-साथ एक स्थायी जीवन शैली अपनाने के लिए जागरूकता पैदा करना शामिल होगा।

गिरिडीह के 18 स्कूलों का नाम हैं शामिल

जिला चयनित स्कूल

पलामू 26

गढ़वा 25

रांची 20

प सिंहभूम 20

गिरिडीह 18

हजारीबाग 18

पू सिंहभूम 15

साहिबगंज 14

चतरा 14

धनबाद 13

बोकारो 13

गोड्डा 13

दुमका 12

देवघर 2

गुमला 11

सिमडेगा 11

पाकुड़ 10

सरायकेला-खरसांवा 10

लातेहार 09

कोडरमा 09

जामताड़ा 09

रामगढ़ 08

लोहरदगा 08

खूंटी 07


Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You cannot copy content of this page